मऊरानीपुर/झांसी – राशन विक्रेता द्वारा लगभग 1 सैकड़ा फर्जी राशन कार्ड बनाकर राशन हड़पने का मामला सामने आया है, जिसमें विक्रेता द्वारा कई वर्षों से फर्जी राशन कार्ड बनवाकर राशन हड़प रहा है, और गरीबों को मिलने वाले राशन वंचित रखा जा रहा है, जबकि वर्तमान सरकार द्वारा दिन रात मेहनत करके सरकारी योजनाओं को धरा पर उतारने की कोशिश कर रही है लेकिन आपको बता दे शासन के निर्देशानुसार गरीबों के हितार्थ चलाई जाने वाली योजनाओं को धरा पर उतरने से पहले ही संबंधित अधिकारियों की मिलीभगत से लीपा पोती कर दी जाती है, और शासन को पलीता लगाया जा रहा है।
यह है पूरा मामला—
ग्राम सिजारा कोटेदार द्वारा राशन वितरण में धांधली का मामला सामने आया है, जिसमें कोटेदार अपने मनमाने ढंग से कोटा बांटता हैं, जिसमें कम से कम कोटेदार एक सैकड़ा ऐसे फर्जी कार्ड अपने पास रखे हुए हैं, जो सीधा लोगों का कोटा उड़ा देते हैं, जिसमें ग्राम वासियों ने इस पर शिकायत भी की थी, जिसमें जिलाधिकारी ने जांच में गलत पाए जाने पर राशन की दुकान निलंबित कर दी थी, और फिर कुछ दिन बाद अधिकारियों की सांठगांठ और मिलीभगत से राशन की दुकान को दोबारा से बहाल कर दी गई, जिसमें उन्होंने कुछ फर्जी कार्ड बनवा कर रखे है, जो वह अपने ही पास रखते हैं, जिसका राशन वह स्वयं ही डकार जाते हैं, कोटेदार अनिल पटेल ग्राम प्रधान रणवीर सिंह पटेल के भाई हैं, जोकि अपने मनमाने ढंग से कोटा वितरण करते हैं, जांच आख्या में गलत पाए जाने पर 06-07-2017 को कोटा निरस्त कर दिया गया था, ग्राम प्रधान रणवीर सिंह पटेल ने अधिकारियों से सांठगांठ कर अपने ही भाई के नाम दोबारा कोटा पास करा दिया, पास कराने की तिथि बहाल कराने की तिथि 13/03/2018 को बहाल कर दिया गया, जिसमें ग्रामवासी एक बार फिर से परेशान होने पर मजबूर हैं।
रिपोर्टर अमित समेले
ग्रामीण एडिटर ब्यूरो धीरेंद्र रायकवार