बुंदेलखंड गांव-गांव, पांव-पांव यात्रा का एट नगर में आगमन: पृथक बुंदेलखंड राज्य निर्माण की मांग पकड़ने लगी जोर
26 दिसम्बर 2024 को बुंदेलखंड संयुक्त मोर्चा द्वारा आयोजित “बुंदेलखंड गांव-गांव, पांव-पांव यात्रा” की शुरुआत जनपद जालौन के सिद्ध शक्तिपीठ मां रक्तदांतिक देवी मंदिर, सैदनगर कोटरा से हुई। इस यात्रा का उद्देश्य बुंदेलखंड क्षेत्र में पृथक राज्य की मांग को लेकर जनजागरूकता फैलाना और क्षेत्र के विकास के मुद्दे को सशक्त बनाना है। यात्रा का नेतृत्व बुंदेलखंड विकास बोर्ड के उपाध्यक्ष और प्रसिद्ध फिल्म अभिनेता राजा बुंदेला कर रहे हैं, जो इस आंदोलन के प्रमुख चेहरा बनकर उभरे हैं। यात्रा की शुरुआत 26/12/2024 को सुबह 11 बजे हुई और एट नगर तक पहुंचने में इसने कई गांवों और कस्बों से गुजरते हुए अपना सफर तय किया। यह यात्रा आज एट नगर, सिद्ध शक्तिपीठ बैरागढ़ धाम, पन्यारा, चमरसेना, और अन्य विभिन्न ग्रामीण क्षेत्रों से होते हुए जनपद जालौन के विभिन्न नगरों एवं ग्रामीण क्षेत्रों में पहुंचेगी। यात्रा का मुख्य उद्देश्य बुंदेलखंड के गांव-गांव में विकास की प्रक्रिया को गति देना और क्षेत्रीय मांगों को उठाना है। यात्रा 10 जनवरी 2025 तक जनपद मुख्यालय उरई तक पहुंचेगी। जहां पर यह व्यापक जनसभा का रूप लेगी और आगे की रणनीतियों पर चर्चा की जाएगी। राजा बुंदेला ने यात्रा के दौरान कहा बुंदेलखंड की जनता लंबे समय से विकास की कमी और उपेक्षाओं का सामना कर रही है। यह यात्रा केवल एक आंदोलन नहीं बल्कि बुंदेलखंड के विकास के लिए एक ऐतिहासिक कदम है। हम चाहते हैं कि सरकार बुंदेलखंड के विकास को प्राथमिकता दे और इस क्षेत्र की अनदेखी अब नहीं होनी चाहिए। इस यात्रा में जनसंपर्क बढ़ाने स्थानीय समस्याओं को उजागर करने और एकजुटता का संदेश देने के लिए विभिन्न सामाजिक संगठनों और राजनीतिक दलों ने भाग लिया है। यात्रा के माध्यम से बुंदेलखंड के लोग न केवल अपनी सांस्कृतिक धरोहर और ऐतिहासिक महत्व को पुनः स्थापित करना चाहते हैं बल्कि अपने अधिकारों के लिए एक सशक्त आवाज भी उठाना चाहते हैं। यात्रा के दौरान न केवल स्थानीय लोग बल्कि बाहर से भी बड़ी संख्या में लोग जुड़ रहे हैं। इस यात्रा में बुंदेलखंड के आम नागरिकों के साथ-साथ समाजसेवी, छात्र-छात्राएं और व्यापारी भी सक्रिय रूप से भाग ले रहे हैं। प्रत्येक पड़ाव पर यह यात्रा लोगों के बीच जागरूकता फैलाने के लिए विशेष कार्यक्रमों और जनसभाओं का आयोजन कर रही है, जिससे बुंदेलखंड राज्य की आवश्यकता और महत्व को स्पष्ट किया जा सके। यात्रा की समाप्ति 10 जनवरी 2025 को उरई में होने वाली है जहां एक विशाल जनसभा आयोजित की जाएगी। इस जनसभा में बुंदेलखंड राज्य निर्माण को लेकर एक ठोस रणनीति तैयार की जाएगी और यह यात्रा एक नए मुकाम पर पहुंचेगी। बुंदेलखंड राज्य निर्माण की मांग अब केवल एक राजनीतिक मुद्दा नहीं रह गई है, बल्कि यह क्षेत्र की जनता की आकांक्षाओं और उनके अधिकारों की बात बन गई है। इस यात्रा के माध्यम से बुंदेलखंड की आवाज़ को बुलंद किया जा रहा है और यह आंदोलन अपने निर्णायक मोड़ की ओर बढ़ रहा है।